मोतिहारी। यूथ मुकाम न्यूज नेटवर्क
जिलाधिकारी सौरभ जोरवाल की अध्यक्षता में समाहरणालय स्थित डॉ राजेंद्र प्रसाद सभा भवन में जिला स्तरीय समन्वय समिति की बैठक संपन्न हुई, जिसमें सभी जिला स्तरीय पदाधिकारी को अपने अधीनस्थ कार्यालय के कार्यों की नियमित समीक्षा करने का निर्देश दिया गया एवं यह भी कहा गया कि जहां कमी पाई जाए उसके लिए जवाबदेही फिक्स की जाय। जिलाधिकारी ने कहा कि क्षेत्रीय कार्यालय के सभी पदाधिकारी एवं कर्मी बायोमैट्रिक अटेंडेंस बनाएं।
अगले माह 01मई से प्रतिदिन पदाधिकारी एवं कर्मियों उपस्थिति की जांच एनआईसी के माध्यम से प्रतिदिन कराई जाएगी। सभी क्षेत्रीय पदाधिकारी को निर्देश दिया गया कि पदाधिकारी अपने कार्यालय में पहले बायोमैट्रिक अटेंडेंस बनाएंगे उसके बाद ही क्षेत्र में निकलेंगे। जिला स्तरीय पदाधिकारी क्षेत्रीय पदाधिकारी के साथ वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग अथवा गूगल मीट के माध्यम से नियमित कार्य प्रगति की समीक्षा करेंगे एवं उससे संबंधित प्रतिवेदन उपलब्ध कराएंगे। सभी अनुमंडल स्तरीय पदाधिकारी अपने अधीनस्थ प्रखंडों के प्रखंड स्तरीय पदाधिकारी के साथ कार्यों की समीक्षा करेंगे।
बैठक में जिलाधिकारी द्वारा सभी विभागों के सरकार की योजनाओं के लिए भूमि से संबंधित उपलब्धता की समीक्षा की गई। समीक्षा के दौरान भवन प्रमंडल के अभियंता द्वारा बताया गया कि जिला के जिन प्रखंडों के जीर्णाेद्धार का कार्य कराया जाना है, उसके लिए निविदा निकाल दिया गया है। इसमें सदर प्रखंड मोतिहारी, सुगौली, तुरकौलिया,रक्सौल, घोड़ासहन, ढाका एवं केसरिया प्रखंड का जीर्णाेद्धार का कार्य किया जाना है।
ढाका प्रमंडल पीएचईडी अभियंता के द्वारा बताया गया कि इस प्रमंडल में जल मीनार बनाया जाना है जिसके लिए जमीन की एनओसी की आवश्यकता है। इस पर जिलाधिकारी के द्वारा संबंधित अंचल अधिकारियों को निर्देश दिया गया।
जिला कृषि पदाधिकारी के द्वारा बताया गया कि संग्रामपुर एवं फेनहरा प्रखंड में ई किसान भवन बनना है। यहां अंचल अधिकारियों के द्वारा बताया गया कि इसके लिए जमीन का चयन कर लिया गया है और शीघ्र ही अनुमंडल पदाधिकारी के माध्यम से इसका प्रस्ताव भेज दिया जाएगा।
जिला कल्याण पदाधिकारी के द्वारा बताया गया कि पताही और फेनहरा में वर्कशेड सह सामुदायिक भवन बनाया जाना है। इस पर जिलाधिकारी के द्वारा निर्देश दिया गया कि संबंधित विकास मित्र से जमीन चिन्हित कराकर अंचलाधिकारी को बता दें,उसके पश्चात अंचल अधिकारी से उस जमीन का प्रतिवेदन प्राप्त करें।
जल निस्सरण प्रमंडल के अभियंताओं को निर्देश दिया गया कि जिला के सभी तटबंधों का नियमित भ्रमण करें एवं उसकी जांच करते रहें। तटबंध पर कहीं भी अतिक्रमण नहीं रहना चाहिए, जहां कहीं अतिक्रमण हो उसे चिन्हित कर हटाने की कार्रवाई करें।
पीएम आवास की स्वीकृति में फेनहरा एवं केसरिया में अपेक्षाकृत कम स्वीकृति को जिलाधिकारी ने गंभीरता से लिया एवं वैसे आवास सहायक जो कार्य नहीं कर रहे हैं, उन्हें हटाने का प्रस्ताव भेजने को प्रखंड विकास पदाधिकारी को निर्देश दिया गया।
राजस्व के कार्य की समीक्षा के दौरान निष्पादन का दर 90ः से अधिक पाया गया। इस पर जिलाधिकारी ने संतोष व्यक्त किया एवं केसरिया, पहाड़पुर, पिपराकोठी, तेतरिया एवं सदर प्रखंड मोतिहारी के द्वारा किए गए अच्छे कार्यों की प्रशंसा की गई। जिलाधिकारी के द्वारा सभी अंचल अधिकारियों को निर्देश दिया गया कि ई मापी से संबंधित आवेदनों को लंबित नहीं रखें। जहां से भी ऐसे आवेदन प्राप्त होते हैं इसके लिए तिथि निर्धारित कर भू मापी करा दी जाए। उन्होंने कहा कि जमीन की मापी नहीं होने से भूमि विवाद की समस्याएं बढ़ती हैं।
शिक्षा विभाग एवं आईसीडीएस के सभी पदाधिकारियों को निर्देश दिया गया कि विभाग द्वारा निर्धारित संख्या में प्रतिमाह पदाधिकारी विद्यालय एवं आंगनबाड़ी केंद्रों की जांच सुनिश्चित करें।
परवरिश योजना के बारे में पूछे जाने पर सहायक निदेशक बाल संरक्षण इकाई के द्वारा बताया गया कि कुष्ठ रोगी या एचआईवी से पीड़ित के 18 वर्ष से कम उम्र के बच्चों को प्रतिमाह ₹1000 की दर से राशि का भुगतान किया जाता है। इसके लिए आवेदन सीडीपीओ कार्यालय में करना होता है। जिलाधिकारी ने कहा एचआईवी से पीड़ित व्यक्ति की सूची सदर अस्पताल से प्राप्त कर ले एवं उसके अनुसार उनके बच्चों का आवेदन प्राप्त कर उनको सरकार द्वारा दी जा रही सहायता राशि का भुगतान सुनिश्चित कराएं।
जिला कृषि पदाधिकारी को निर्देश दिया गया कि फार्मर रजिस्ट्री के कार्य प्रगति लाने के लिए कर्मचारियों को अनुमंडल बार प्रशिक्षण देने की व्यवस्था करें। यह प्रशिक्षण अनुमंडल पदाधिकारी की उपस्थिति में दिया जाए।
उप निर्वाचन पदाधिकारी के द्वारा बताया गया कि प्रत्येक 10 मतदान केंद्र पर एक बीएलओ सुपरवाइजर की नियुक्ति की जानी है, इसको लेकर जिलाधिकारी के द्वारा सभी प्रखंड विकास पदाधिकारी को निर्देश दिया गया।
बाढ़ के तैयारी के संबंध में जिलाधिकारी ने कहा कि सभी अनुमंडल पदाधिकारी एवं अंचलाधिकारी अपने स्तर से सभी तटबंधों का निरीक्षण कर ले एवं चिन्हित किए गए बाढ़ आश्रय स्थलों को भी देख लें। तटबंधों के सुरक्षात्मक कार्य कि अगर जरूरत है तो समय रहते हैं इसे पूर्ण करा ली जाए। सभी प्रखंडों में वर्षा मापक यंत्र लगाये जा चुके हैं,यह भी देख लिया जाए की ये यंत्र चालू हैं या नहीं। डीएम ने कहा कि सभी अंचलों में नाव की व्यवस्था एवं पॉलीथिन शीट्स की उपलब्धता देख ली जाए। राहत सामग्री के दर निर्धारण के लिए निविदा निकाली जा चुकी है।
बैठक में जिलाधिकारी के साथ नगर आयुक्त श्री सौरभ सुमन यादव, उप विकास आयुक्त श्री शंभू शरण पांडे, एडीएम लोक शिकायत श्री शैलेंद्र भारती, एडीएम आपदा श्री राजेश्वरी पांडे, सभी अनुमंडल पदाधिकारी, डीसीएलआर,सभी जिला स्तरीय पदाधिकारी, सभी प्रखंडों के प्रखंड विकास पदाधिकारी, अंचलाधिकारी सहित अन्य पदाधिकारी उपस्थित थे जबकि प्रखंडों के अन्य पदाधिकारी वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से जुड़े हुए थे।