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रहनुमाओं ने नहीं सुनी फरियाद तो ग्रामीणों ने अपने दम पर रातोंरात बना दिया पुल, इस जगह का मामला

बेतिया डेस्क। यूथ मुकाम न्यूज नेटवर्क
नए साल के आगमन पर चंपारण के किसानों व ग्रामीणों ने श्रमदान और चंदा इकट्ठा कर गण्डक नदी के रोहुआ नाला पर पुलिया का निर्माण किया है, ताक़ि खेतों से फ़सल लेकर चीनी मिल व बाज़ारों तक पहुँचाई जा सके। दरअसल किसान औऱ ग्रामीण जब सांसद, विधायक व उपमुख्यमंत्री से पुल निर्माण के लिए फरियाद कर थक गए। तब अपना हाथ जगन्नाथ की तर्ज पर खुद पहल की और चंदा इकट्ठा कर श्रमदान से इस पुल को बनाया है।

दरअसल यूपी-बिहार सीमा पर स्थित बगहा में मदनपुर बेलहवा पंचायत के जरलहिया स्थित रोहुआ नाला पर एक पुल पुलिया निर्माण के लिए किसान कई वर्षों से मांग कर रहे थे। वाल्मीकि टाइगर रिजर्व जंगल से सटे सुदूरवर्ती इलाके के चार पांच गांवों के किसानों का गन्ना गंडक दियारा क्षेत्र में पड़ता है। गंडक नदी से निकले रोहुआ नाला से होकर हीं गन्ना की खेप ट्रैक्टर या बैलगाड़ी व ट्रक से किसान लाते हैं।

ऐसे में किसानों को गन्ना के सीजन में काफी दिक्कतें होती हैं और यूपी के रास्ते गन्ना लेकर आना पड़ता था जो काफी खर्चीला होता था। लिहाजा किसानों की मांग जब जनप्रतिनिधियों ने नहीं सुनी। तब ग्रामीण किसानों ने खुद से कमान संभाल ली और चंदा व श्रमदान से रोहुआ नाला पर रातों रात पूल का निर्माण कर एक मिसाल पेश क़ायम किया है। जिससे जनप्रतिनिधियों को आइना भी दिखाया है।

बता दें कि गन्ना की फ़सल अभी भी हजारों एकड़ खेतों में पड़ा हुआ है। जिसे काटकर चीनी मिलों तक भेजने के साथ साथ खेत ख़ाली होने पर रबी फसलों के बुआई को लेकर चिंतित किसानों ने चीनी मिल प्रबंधन व प्रशासन समेत जनप्रतिनिधियों की उदासीनता से तंग आकर सिस्टम को तमाचा जड़ा है।

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