मोतिहारी में 13 दिसंबर को लगेगी राष्ट्रीय लोक अदालत, प्रशासनिक तैयारियाँ तेज

    मोतिहारी। यूथ मुकाम न्यूज नेटवर्क
    राष्ट्रीय विधिक सेवा प्राधिकरण नई दिल्ली द्वारा जारी निर्देशों के बाद पूर्वी चंपारण में 13 दिसंबर 2025 को राष्ट्रीय लोक अदालत का आयोजन किए जाने की घोषणा के साथ ही जिले में तैयारी की गति तेज कर दी गई है। आम जनता को तेजी, सहजता व बिना किसी खर्च के न्याय उपलब्ध कराने के उद्देश्य से होने वाली इस लोक अदालत में बड़ी संख्या में मामलों के निपटारे की संभावना जताई जा रही है।
    जिला न्यायधीश और विधिक प्राधिकरण की संयुक्त पहल
    राष्ट्रीय लोक अदालत की तैयारियों की समीक्षा एवं रणनीति निर्माण के लिए जिला एवं सत्र न्यायाधीश अभिषेक कुमार दास के दिशा-निर्देश पर जिला विधिक सेवा प्राधिकरण के सचिव नितिन त्रिपाठी की अध्यक्षता में एक महत्वपूर्ण जिला स्तरीय बैठक आयोजित हुई। यह बैठक उनके कार्यालय प्रकोष्ठ में हुई, जिसमें विभिन्न विभागों के वरीय पदाधिकारियों ने हिस्सा लिया।
    मुख्य विभागों की उपस्थिति में बनी विस्तृत योजना
    बैठक में सहायक नियंत्रक, माप एवं तौल, जिला जनसंपर्क पदाधिकारी, वन प्रमंडल पदाधिकारी, सहित कई महत्वपूर्ण इकाइयों के प्रतिनिधि उपस्थित रहे। सभी ने एकमत होकर यह सुनिश्चित करने के लिए रणनीति बनाई कि 13 दिसंबर को होने वाली लोक अदालत पूरी तरह सफल हो।
    इस बैठक में जिला विधिक सेवा प्राधिकरण के सचिव ने संबंधित विभागों को निर्देशित किया कि वे अपने-अपने विभागों के सुलह योग्य एवं निपटान योग्य मामलों की पहचान कर उसकी सूची अगले दो दिनों के भीतर प्राधिकरण को उपलब्ध कराएँ। उन्होंने कहा कि ऐसे मामलों की पहले से सूची तैयार होने पर लोक अदालत के दिन बड़ी संख्या में वादों का शीघ्र निपटारा संभव हो सकेगा।
    किन मामलों का होगा निःशुल्क निपटारा
    राष्ट्रीय लोक अदालत में निम्नलिखित मामलों का पूरी तरह निःशुल्क निपटारा किया जाएगाकृ
    संधि योग्य लघु आपराधिक मामले
    धारा 138 एनआई एक्ट (चेक बाउंस) से जुड़े मामले
    ट्रैफिक चालान एवं वाहन नियम उल्लंघन के वाद
    वाहन दुर्घटना दावा
    विभिन्न प्रकार के सिविल सूट
    मापतौल से संबंधित वाद
    श्रम वाद
    बैंक ऋण वसूली से जुड़े मामलों का आपसी निपटारा
    नीलम पत्रवाद तथा अन्य सुलह योग्य वाद
    लोक अदालत में इन मामलों का निपटारा केवल कानूनी प्रक्रिया को सरल बनाने का तरीका ही नहीं है, बल्कि यह पक्षकारों को लंबी अदालती प्रक्रिया से राहत देने का एक प्रभावी माध्यम भी है।
    आम जनता से अपीलरू ‘अधिक से अधिक मामले लेकर आएँ’
    जिला विधिक सेवा प्राधिकरण के सचिव ने कहा कि राष्ट्रीय लोक अदालत का मूल उद्देश्य न्याय को जनसुलभ बनाना है। उन्होंने जिले के नागरिकों से अपील की कि वे अपने लंबित, सुलह योग्य तथा गैर-गंभीर विवादों को लोक अदालत में प्रस्तुत कर इसका लाभ उठाएँ।
    उन्होंने कहा, “राष्ट्रीय लोक अदालत आम लोगों के लिए अत्यंत उपयोगी है। इसमें न तो कोर्ट फीस देनी होती है और न ही लंबी बहसें होती हैं। आपसी सहमति से मामलों का निपटारा तुरंत हो जाता है। हम चाहते हैं कि इस बार अधिकतम संख्या में लोग इसका लाभ उठाएँ।”
    जिले में उम्मीद हजारों वादों के निपटारे की तैयारी
    इस बार राष्ट्रीय लोक अदालत को लेकर प्रशासन विशेष रूप से सक्रिय है। विभिन्न विभागों से प्राप्त होने वाली सुलह योग्य वादों की सूची के आधार पर ऐसी उम्मीद है कि इस लोक अदालत में सैकड़ों से लेकर हजारों तक मामलों का निपटारा संभव होगा।
    जिले के न्यायिक अधिकारियों और प्रशासन की संयुक्त टीम ने यह सुनिश्चित करने का संकल्प लिया है कि यह लोक अदालत आम नागरिकों के लिए एक बड़ा राहत दिवस साबित हो। उक्त आशय की जानकारी जिला जनसंपर्क पदाधिकारी ज्ञानेश्वर प्रकाश ने प्रेस विज्ञप्ति जारी कर दी ।

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