मोतिहारी। अशोक वर्मा
उत्तर प्रदेश का मोहम्मद सिराज व नेपाल का मोहम्मद रियान द्वारा 05 नाबालिग बच्चे क्रमशः खुशबू, गीता, रीना , सोनू, और मोहन ( काल्पनिक नाम) को नेपाल से हैदराबाद ( भारत) ले जाने के क्रम में मानव तस्करी रोधी इकाई,47 वी वाहिनी एसएसबी एवं प्रयास जुवेनाइल एड सेंटर और स्वच्छ रक्सौल के संयुक्त कार्यवाही से गिरफ्तार किया गया। बता दें कि मानव तस्करी रोधी इकाई एसएसबी को विश्वसनीय स्रोत से सूचना प्राप्त हुई कि नेपाल के विभिन्न प्रांतों से नेपाली नाबालिग लड़के एवं नाबालिग लड़कियों को मानव तस्कर द्वारा काम दिलवाने के नाम पर भारत के विभिन्न राज्यों में ले जाने के फिराक में है। सूचना के आधार पर मानव तस्करी रोधी इकाई, 47वी वाहिनी द्वारा एक संयुक्त टीम का गठन किया गया, जिसमे प्रयास जुबेनाइल एड सेंटर एवम स्वच्छ रक्सौल (एन.जी.ओ) टीम द्वारा मैत्री ब्रिज, रक्सौल के पास चेकिंग अभियान चलाया गया। कुछ घंटों के पश्चात कुछ बच्चे नेपाल से भारत आते दिखे। संदेह एवं सूचना के आधार पर बच्चों को रोककर उनकी काउंसलिंग की गई तो पता चला कि बच्चों को ले जा रहे मानव तस्कर ने भारत-नेपाल सीमा पर चेकिंग के दौरान स एस.एस.बी द्वारा पकड़े जाने के भय से सभी बच्चों को अकेले सीमा पार करने को कहा था, लेकिन बच्चों की मदद से दोनों व्यक्तियों को पकड़ लिया गया। गिरफ्तार व्यक्ति से पूछताछ की गई तो पता चला कि मोहम्मद सिराज (मानव तस्कर) उत्तर प्रदेश का निवासी है जो नेपाल के रियान मोहम्मद (मानव तस्कर) के साथ मिलकर पांच नेपाली बच्चों (जिसमें 03 नाबालिग लड़कियां एवं 02 नाबालिग लड़के शामिल हैं) को बहला-फुसलाकर दिल्ली ले जाने की फिराक में था। तस्करों ने खुलासा किया कि कुछ समय तक बच्चों को दिल्ली में रखने के बाद वे उन्हें हैदराबाद ले जाने वाले थे। बच्चों की काउंसलिंग के दौरान पता चला कि बच्चे या उनके परिवार के सदस्य मोहम्मद सिराज (तस्कर) को नहीं जानते थे। गरीबी और पैसे के लालच में बच्चों के परिजनों ने मोहम्मद रियान (नेपाली तस्कर) पर विश्वास कर अपने बच्चों को बिना कुछ सोचे समझे उनके साथ जाने दिया। काउंसलिंग में सभी बच्चे अपना मुस्लिम नाम बता रहे थे और तस्कर को अपना रिश्तेदार। जब सभी की अलग-अलग काउंसलिंग की गई और बताया गया कि मानव तस्कर किस तरह बच्चों की तस्करी करते हैं, तो बच्चों ने खुलासा किया कि हमें सिखाया गया था कि पकड़े जाने पर हम सभी को मुस्लिम नाम बताना होगा, जबकि सभी बच्चे हिंदू थे। तस्कर की मंशा गलत लग रही थी। मानव तस्करी के मामले को ध्यान में रखते हुए तस्करों के साथ नेपाली नाबालिग लड़के-लड़कियों को आगे की कानूनी प्रक्रिया के लिए हरैया थाना रक्सौल को सौंप दिया गया, जहां तस्करों के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज की गई है। संयुक्त कार्यवाही में ।भ्ज्न् प्रभारी इंस्पेक्टर विकास कुमार, सहायक उप निरीक्षक खेम राज , हवलदार अरविंद द्विवेदी, सिपाही सुनीता एवं लक्ष्मी , प्रयास जुवेनाइल एड सेंटर पूर्वी चम्पारण की जिला परियोजना समन्वयक आरती कुमारी एवं सामाजिक कार्यकर्ता राज गुप्ता तथा स्वच्छ रक्सौल एन जी ओ से रणजीत सिंह , साबरा खातून शामिल थे।