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पीएम मोदी ने किया पूर्वी डेडिकेटेड फ्रेट कॉरिडोर का शुभारंभ, अब 100 किमी प्रति घंटे की रफ्तार से दौड़ेंगी माल ट्रेनें

नेशनल डेस्क। यूथ मुकाम न्यूज नेटवर्क
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से पूर्वी डेडिकेटेड फ्रेट कॉरिडोर (ईडीएफसी) के ‘न्यू भाऊपुर- न्यू खुर्जा सेक्शन’ का उद्घाटन किया। पूर्वी डेडिकेटेड फ्रेट कॉरिडोर (ईडीएफसी) के बनने से देश में माल ढुलाई की सुविधा बढ़ेगी। ईडीएफसी का 351 किलोमीटर लंबा न्यू भाऊपुर- न्यू खुर्जा सेक्शन 5,750 करोड़ रुपये की लागत से बनाया गया है। यह सेक्शन मौजूदा कानपुर-दिल्ली मुख्य लाइन से भी भीड़भाड़ कम कर देगा और भारतीय रेलवे को तेज ट्रेन चलाने में सक्षम करेगा।

पूर्वी डेडिकेटेड फ्रेट कॉरिडोर के ट्रैक पर 100 किमी प्रति घंटा की रफ्तार से मालगाड़ी चलाई जा सकेगी। यात्री ट्रेनों की वजह से अभी मालगाड़ियों को इतनी दूरी तय करने में कई बार पूरा दिन लग जाता है। यात्री ट्रेनों को पास देने के लिए मालगाड़ी को लूप लाइन में खड़ा नहीं होना पड़ेगा। पहले से मौजूद ट्रैक पर सामान्य दिनों में करीब 170 से 200 मालगाड़ियां जबकि 375 यात्री ट्रेनें दौड़ रही थीं। मालगाड़ियां स्थानांतरित होने से ट्रैक यात्री ट्रेनों के लिए रह जाएगा,जिससे ट्रेनों के लेट होने का संभावना कम हो जाएगी और रफ्तार में भी तेजी आएगी।

प्रयागराज में एक अत्याधुनिक ऑपरेशन कंट्रोल सेंटर (ओसीसी) ईडीएफसी के पूरे रूट के लिए कमान सेंटर के रूप में कार्य करेगा। आधुनिक आंतरिक सज्जा, श्रम दक्षता संबंधी डिजाइन और सर्वश्रेष्ठ ध्वनि विज्ञान के साथ ओसीसी विश्व स्तर पर अपने प्रकार की सबसे बड़ी संरचनाओं में से एक है। पूर्वी डेडिकेटेड फ्रेट कॉरिडोर (ईडीएफसी) 1856 मार्ग किलोमीटर लंबा है। यह लुधियाना (पंजाब) के पास साहनेवाल से शुरू होता है और पंजाब, हरियाणा, उत्तर प्रदेश, बिहार और झारखंड राज्यों से गुजरकर पश्चिम बंगाल के दनकुनी में समाप्त होता है। कॉरिडोर के रूट पर पहले डीजल इंजन से मालगाड़ियां चलेंगी, क्योंकि विद्युतीकरण का काम पूरा नहीं हुआ है। अधिकारियों के मुताबिक जल्द ही इस पर काम हो जाएगा, जिसके बाद इलेक्ट्रिक लोकोमोटिव इंजन से मालगाड़ी चलाई जाएगी।

यह सेक्शन स्थानीय उद्योगों जैसे एल्यूमीनियम उद्योग (कानपुर देहात जिले का पुखरायां क्षेत्र), डेयरी क्षेत्र (औरैया जिला), कपड़ा उत्पादन ध् ब्लॉक प्रिंटिंग (इटावा जिला), कांच के सामान के उद्योग (फिरोजाबाद जिला), पॉटरी (बुलंदशहर जिले के खुर्जा),हींग उत्पादन (हाथरस जिला) और ताले और हार्डवेयर (अलीगढ़ जिला) के लिए नए अवसर खोलेगा। इस परियोजना का उद्देश्य गलियारे के मार्ग के साथ राज्यों में बुनियादी ढांचे और उद्योग को रफ्तार देना है। कई राज्यों से होकर गुजरने वाले इस कॉरिडोर का करीब 57 प्रतिशत हिस्सा यूपी से होकर गुजरेगा। डेडिकेटेड फ्रेट कॉरिडोर से कैमिकल एंड फर्टिलाइजर, एग्रो एंड फूड प्रोसेसिंग, पावर प्लांट्स, वेयरहाउसिंग, मैन्युफैक्चरिंग एंड एक्सपोर्ट यूनिट्स जैसे उद्योगों  को सबसे ज्यादा फायदा मिलेगा।

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