
मोतिहारी। अशोक वर्मा
भाजपा विचार संगठन को जब -जब मौका मिला तो अनुसूचित जातिध्जनजाति एवं पिछड़ा वर्ग के हित और संरक्षण का काम किया।लेकिन कांग्रेस पार्टी ने ठीक इसके विपरीत काम किया और बाबा साहेब का विरोध किया।
उक्त बातें बाबा साहेब के महापरिनिर्वाण दिवस पर मोतिहारी विधायक सह पूर्व कला संस्कृति मंत्री प्रमोद कुमार ने सूर्यपुर पंचयात के झखरा बलुआ महादलित बस्ती,अवधेश चैक,दक्षिण ढेकहाँ बेला महा दलित बस्ती में उनके चित्र पर श्रद्धा सुमन अर्पित करते हुए कहीं।
श्री कुमार ने कहा कि कांग्रेस चाहती तो बाबा साहेब को निर्विरोध चुनकर संसद मे भेज सकती थी लेकिन वर्ष 1952 के लोकसभा के आम चुनाव में बाबा साहेब का विरोध किया जो कि मुम्बई से प्रत्याशी थे। चुनाव में कांग्रेस ने नारायण काजोलकर को प्रत्याशी बना कर बाबा साहेब को चुनाव हरवा दिया।कुछ समय बाद वर्ष 1953 में भंडारा महाराष्ट्र के लोकसभा सदस्य की मृत्यु उपरांत हुए उपचुनाव में कांग्रेस ने पुनः बाबासाहेब को सांसद बनाये जाने से रोका।
बार-बार बाबा साहेब को कांग्रेस द्वारा संसद में जाने से रोक कर उनका अपमान किया जाना जनसंघ को रास नहीं आया । जनसंघ नेता डॉक्टर श्यामा प्रसाद मुखर्जी के विशेष प्रयास द्वारा डॉक्टर भीमराव अंबेडकर जी को बंगाल से राज्यसभा का सदस्य मनोनीत किया।
इस अवसर पर अल्पसंख्यक मोर्चा के जिलाध्यक्ष मोहेबुल हक साहब, नगर उतरी मंडल अध्यक्ष योगेंद्र प्रसाद ,जिला मंत्री विनोद कुशवाहा,उत्तरी मंडल नगर महामंत्री उत्तम मिश्रा,चुमन श्रीवास्तव, कामेश्वर चैरसिया,राजू सिंह पटेल,मुनचुन सिंह,योगी मांझी,हीरालाल साह,गौरी शंकर साह,लालबाबू मांझी,निमाई चंद दास, शिवनारायण मांझी, रामजन्म मांझी, जगनारायण मांझी, पप्पू मांझी सहित अन्य कार्यकता उपस्थित थे।वक्ताओं ने कहा कि कांग्रेस ने हमेशा दोहरी नीति पर काम किया। कांग्रेस की गलत नीतियों से क्षुब्ध होकर के बाबू जगजीवन राम जी ने 1977 में कांग्रेस का दामन छोड़ कर के जयप्रकाश नारायण के नेतृत्व में जनता पार्टी मे शामिल हुए और जनता पार्टी की सरकार ने उनका मान सम्मान और कद बढ़ाया। जनता पार्टी की सरकार में भाजपा की मजबूत भागीदारी थी।